Mi-17 V5 हेलीकॉप्टरों के उपकरण अब भारत में ही बनेंगे, रक्षा मंत्रालय ने BEL के साथ किया अनुबंध

नई दिल्ली। रक्षा मंत्रालय (Ministry of Defence) ने सोमवार को भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड (Bharat Electronics Limited- BEL) के साथ 2,385 करोड़ रुपये के अनुबंध पर हस्ताक्षर किए हैं। इसके तहत भारतीय वायुसेना (Indian Air Force) के Mi-17 V5 हेलीकॉप्टरों के लिए इलेक्ट्रॉनिक वारफेयर (Electronic warfare.-EW) सूट, संशोधन किट और संबंधित उपकरण खरीदे जाएंगे। यह अनुबंध रक्षा विनिर्माण क्षेत्र में आत्मनिर्भरता को बढ़ावा देगा और मेक इन इंडिया मुहिम को नई पहचान देगा। रक्षा मंत्रालय ने सोमवार को बताया कि यह अनुबंध भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड बेंगलुरु के साथ किया गया है। यह खरीद (भारतीय-स्वदेशी रूप से डिजाइन, विकसित और निर्मित) श्रेणी के तहत की जायेगी। इस अनुबंध पर सोमवार को रक्षा सचिव राजेश कुमार सिंह की उपस्थिति में हस्ताक्षर किए गए।
रक्षा मंत्रालय ने एक बयान में कहा, “यह अत्याधुनिक EW सूट प्रतिकूल वातावरण में हेलीकॉप्टरों की परिचालन क्षमता को काफी हद तक बढ़ाएगा। अधिकांश उप-असेंबली और पुर्जे स्वदेशी निर्माताओं से लिए जाएंगे। यह परियोजना भारतीय इलेक्ट्रॉनिक्स और एमएसएमई सहित संबंधित उद्योगों की सक्रिय भागीदारी को बढ़ावा देगी और प्रोत्साहित करेगी।” बयान में कहा गया है कि अनुबंध पर खरीद (भारतीय-आईडीडीएम) श्रेणी के तहत हस्ताक्षर किए गए हैं।
IDDM का मतलब है स्वदेशी रूप से डिजाइन, विकसित और निर्मित
रक्षा खरीद नीति के तहत स्वदेशीकरण के लिए अधिग्रहण की सबसे महत्वपूर्ण श्रेणी भारतीय-आईडीडीएम श्रेणी है। आईडीडीएम का मतलब है स्वदेशी रूप से डिजाइन, विकसित और निर्मित। हाल के वर्षों में भारत ने रक्षा विनिर्माण क्षेत्र में आत्मनिर्भरता बढ़ाने के लिए कई कदम उठाए हैं। इनमें विभिन्न प्रकार के हथियारों और प्रणालियों पर चरणबद्ध आयात प्रतिबंध लगाना, स्थानीय रूप से निर्मित सैन्य हार्डवेयर खरीदने के लिए एक अलग बजट बनाना, प्रत्यक्ष विदेशी निवेश (एफडीआई) को 49% से बढ़ाकर 74% करना और व्यापार करने में आसानी में सुधार करना शामिल है।