अब चांदी के लिए भी अनिवार्य होगी हॉलमार्किंग
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उपभोक्ता मामलों के मंत्री ने कहा, व्यवस्था को लागू करने की दिशा में काम कर रही सरकार
नई दिल्ली। सोने की तरह अब चांदी और इससे बने आभूषणों के लिए भी हॉलमार्किंग अनिवार्य हो जाएगी। सरकार ने इस दिशा में काम शुरू कर दिया है। हितधारकों के साथ विचार-विमर्श और भारतीय मानक ब्यूरो (बीआईएस) की ओर से व्यवहार्यता का आकलन पूरा होने के बाद इस पर फैसला लिया जाएगा। खाद्य एवं उपभोक्ता मामलों के मंत्री प्रहलाद जोशी ने सोमवार को 78वें बीआईएस स्थापना दिवस समारोह में कहा, गुजरात, कर्नाटक एवं अन्य राज्यों के हितधारकों के अलावा उपभोक्ताओं ने भी चांदी पर हॉलमार्किंग अनिवार्य करने की मांग की है। बीआईएस को चर्चा के बाद इसे अनिवार्य करने पर विचार करना चाहिए। अभी चांदी की हॉलमार्किंग ग्राहक या दुकानदार की इच्छा पर निर्भर है।
: चांदी की अनिवार्य हॉलमार्किंग से बहुमूल्य धातुओं के गुणवत्ता नियंत्रण उपायों को बल मिलेगा।
: उपभोक्ताओं की मांग के बाद व्यवहार्यता का आकलन कर रहा भारतीय मानक ब्यूरो
तीन-छह माह में लागू हो सकती है व्यवस्था
भारतीय मानक ब्यूरो के महानिदेशक प्रमोद कुमार तिवारी ने बताया, ब्यूरो तीन से छह महीने में चांदी को अनिवार्य हॉलमार्किग को लागू कर सकता है। हितधारकों के साथ कई दौर की चर्चा हो चुकी है और वे इसके पक्ष में हैं।
: सोने की तरह चांदी पर भी छह अंकों का विशिष्ट अल्फान्यूपेरिक कोड छापने पर चर्चा चल रही है।
90% स्वण आभूषण अब हॉलमार्क वाल़े
खाद्य एवं उपभोक्ता मामलों के मंत्री ने कहा, यह कदम जून, 2021 में शुरू की गई सोने की अनिवार्य हॉलमार्किंग के सफल कार्यान्वयन के बाद उठाया जा रहा है। अब खरीदे जा रहे सोने के करीब 90 फीसदी आभूषण हॉलमार्क वाले हैं। जून,2021 में लॉन्च के बाद से अब तक 44.28 करोड़ से अधिक स्वर्ण आभूषणों को विशिष्ट पहचान के साथ हॉलमार्क किया जा चुका है। अभी 361 जिलों में सोने की अनिवार्य हॉलपार्किंग व्यवस्था लागू है।