यहां जमीं पर उतर आते हैं बादल, देवभूमि की वो खूबसूरत जगह, जहां आप ले सकते हैं बारिश में जानदार ग्रीन ब्यूटी का आनंद
देवभूमि उत्तराखंड में यूं तो ऐसे कई हिल स्टेशन हैं जहां की खूबसूरती बारिश में कई गुना बढ़ जाती है। ऐसी ही जगह है रानीखेत, जहां मानसून में प्राकृतिक सुंदरता अपने चरम पर होती है। यहां लश ग्रीन ब्यूटी और झरनों का मजा ले सकते हैं।
लेकिन, दिल्ली एनसीआर से सबसे नजदीक हिल स्टेशन में उत्तराखंड का रानीखेत भी शामिल है। रानीखेत दिल्ली से करीब 376 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। यानि आप सिर्फ 9 घंटे की ड्राइव करके रानीखेत पहुंच सकते हैं। रानीखेत उत्तराखंड की खूबसूरत और शांत जगहों में शामिल है। ये हिल स्टेशन कुमाऊं में प्रकृति की गोद में बसा हुआ है। रानीखेत का मतलब है ‘रानी का खेत’ जो समुद्र तल से 1800 मीटर की ऊंचाई पर है। बारिश के दिनों में रानीखेत और भी खूबसूरत हो जाता है। यहां के घने जंगल, चीड़, देवदार के पेड़ और झरने सैलानियों को अपनी ओर खींचते हैं। अगर आपको भी किसी शानदार हिल स्टेशन पर कुछ सुकून के पल बिताने हैं तो रानीखेत जरूर जाएं।
रानीखेत, जो कि उत्तराखंड राज्य के अल्मोड़ा जिले में स्थित है, एक खूबसूरत हिल स्टेशन है। यह समुद्र तल से 1824 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है और अंग्रेजों द्वारा विकसित किया गया है। यहाँ की शांत जलवायु, बर्फीले पर्वत, घाटियां, देवदार और बलूत के वृक्षों से घिरा हुआ है।
रानीखेत में घूमने लायक विशेष
रानीखेत की हसीन वादियां देखकर आप मंत्रमुग्ध हो जाएंगे। यहां टूरिस्ट कैंपिंग होती है और ठंड के दिनों में बर्फबारी का मजा ले सकते हैं। रानीखेत काफी शांत हिल स्टेशन है। यहां सेब के बगीचे, खुबानी के बगीचे और कई स्पॉट हैं जो देखने लायक हैं। रानीखेत में झूला देवी मंदिर के दर्शन कर सकते हैं जो 7 किलोमीटर दूर है। इसके अलावा चौबटिया गार्डन, हैडाखान बाबा का आश्रम, बिनसर महादेव मंदिर,तारिखेत भी घूम सकते हैं। टूरिस्ट यहां के पास में स्थित मजखाली गांव भी घूम सकते हैं।
रानीखेत में कुछ प्रमुख दर्शनीय स्थल हैं:
झूला देवी मंदिर: यह प्राचीन मंदिर रानीखेत के निकट स्थित है।
दूनागिरी (द्रोणागिरी): यह एक प्राचीन गुफा है जो रानीखेत से 54 किमी की दूरी पर स्थित है।
चौबटिया बाग: यह बाग फूलों से ढंके होते हैं और आपको अपनी खूबसूरती में मोहित करते हैं।
कालिका मंदिर: यह भगवान काली को समर्पित है और एक धार्मिक स्थल है।
पैराग्लाइडिंग ग्राउंड: रानीखेत हिल स्टेशन से मात्र 12 किलोमीटर की दूरी पर आपको पैराग्लाइडिंग करने का जगह मिल जाएगा। यह स्थान पैराग्लाइडिंग करने के लिए पूरे भारत में प्रचलित है। दूर-दूर से लोग इस स्थान पर पैराग्लाइडिंग करने के लिए आते हैं।
कुमाऊं रेजीमेंट गोल्फ कोर्स: यह गोल्फ कोर्स खूबसूरत पर्यावरण में स्थित है और खिलाड़ियों को आकर्षित करता है।
आप रानीखेत के आसपास के गांवों में भी घूम सकते हैं और इस खूबसूरत स्थल का आनंद ले सकते हैं। रानीखेत जाने के लिए आप ट्रेन, बस, या खुद की गाड़ी का उपयोग कर सकते हैं। आपके यात्रा के अनुसार आपको अपनी आवश्यकताओं के अनुसार ठहरने की व्यवस्था कर सकते हैं।
मनीला : मनीला खूबसूरत नजारों से भरा रानीखेत का एक खूबसूरत शहर है। यह स्थान यहां पर स्थित मां मनिला देवी मंदिर के कारण ज्यादा प्रमुख है। रानीखेत में खूबसूरत दर्शनीय स्थलों में से एक है।
राम मंदिर रानीखेत : रानीखेत में विभिन्न प्रसिद्ध आकर्षणों में से एक भगवान राम जी को समर्पित राम मंदिर है। यह मंदिर रानीखेत के मुख्य शहर से 7 किलोमीटर की दूरी पर चौबटिया गार्डन के पास स्थित है।
रानी लेक : रानीखेत का एक प्रसिद्ध झील है, जिसे रानी झील या रानी लेख कहते हैं। यह झील एक कृत्रिम झील है, जिसे कई साल पहले अंग्रेज छावनी में निवास करने वाले व्यक्तियों ने बनाया था।
यहां झील में काफी साफ पानी है और आसपास का हरा भरा इलाका इस झील को खूबसूरती का एक केंद्र बनाता है, जहां वोटिंग करने की और बच्चों के लिए झूले की व्यवस्था की गई है।
भालू बांध : भालू बांध रानीखेत में देखने लायक खूबसूरत कृत्रिम झील है। इस कृत्रिम झील का निर्माण 1903 में ब्रिटिश सरकार के द्वारा कराया गया था।
मानसून में रानीखेत की खूबसूरती
मानसून में बारिश के बार यहां का नजारा देखने लायक होता है। रानीखेत के पहाड़ों पर फॉगी मौसम, बारिश और बहते झरने आपका दिल जीत लेंगे। यहां के खेत बारिश के बार और हरे हो जाते हैं। सीढ़ीनुमा खेत रानीखेत की खूबसूरती में चार-चांद लगा देते हैं। यहां पहुंचकर आपको ऐसा लगेगा मानो आप प्रकृति की गोद में बैठे हैं।
रानीखेत का मौसम साल भर घूमने के लिए अनुकूल रहता है। गर्मी में यहां का मौसम खुशनुमा और ठंडा रहता है जो घूमने के लिए आदर्श माना गया है। इस समय न्यूनतम तापमान 12°C और अधिकतम लगभग 27°C होता है। बर्फ़बारी का आनंद लेने के लिए सर्दियों का मौसम उपयुक्त है, इस समय रानीखेत का तापमान लगभग 0°C से -14°C के आस पास रहता है।
रानीखेत बगीचा
रानीखेत अपने प्राकृतिक सुंदरता की वजह से भारत में आए पर्यटकों का मुख्य आकर्षण बना हुआ है। यह प्राकृतिक सुंदरता यहां पर मौजूद विभिन्न प्रकार के बाग बगीचे और हरे भरे वातावरण से आता है। यह एक प्रचलित बगीचा है, जिसे रानीखेत बगीचा कहते हैं। यहां पर अनेक प्रकार के पेड़ पौधे और विभिन्न रंगों के फूल मौजूद है। वर्तमान में यह बगीचा रानीखेत हिल स्टेशन का एक प्रमुख हिस्सा है।
रानीखेत से जुड़े कुछ महत्वपूर्ण तथ्य
— रानीखेत एक प्रसिद्ध हिल स्टेशन है, जिसे अंग्रेजों द्वारा निर्माण किया गया था।
— रानीखेत उत्तराखंड के उत्तरी क्षेत्र में स्थित है, जो हिमालय के पहाड़ और उसके निचले खेतों को जोड़ने का कार्य करता है। इस वजह से वहां ठंडे पहाड़ और हरे-भरे नजारे मौजूद है, जो उसे आकर्षण का केंद्र बनाते हैं।
— आज से कई वर्ष पहले राजपूतों के राजा सुखदेव और रानी पद्मिनी जगह पर घूमने आए थे, जिन्हें यह स्थान काफी आकर्षित लगा था। इस वजह से स्थानीय लोग के अनुसार रानी पद्मिनी ने अपने महल का निर्माण रानीखेत में किया था।
— लेकिन वर्तमान में यहां पर कोई भी महल नहीं है और ना ही कोई निशानी है महल के होने की। कुछ लोगों का मानना है कि अंग्रेजों ने यहां पर अपनी छावनी स्थापित की थी और उन्होंने उस महल को नष्ट कर दिया था।
— रानीखेत नाम का हिल स्टेशन देवदार और बबूल के पेड़ों से घिरा हुआ है और यह काफी ऊंचाई पर स्थित है। इस वजह से वहां से नजारा काफी खूबसूरत लगता है।
रानीखेत का इतिहास
कहा जाता है कि ये जगह को कत्यूरी शासक राजा सुधारदेव की रानी पद्मिनी को पंसद थी और उन्होंने इसे अपने रहने के लिए चुना था। यहां से टूरिस्ट हिमालय के अद्भुत दृश्यों को निहारते थे और रानी भी प्रकृतिक नजारों का लुत्फ उठाती थीं। वहीं 1869 में अंग्रेजों ने रानीखेत में कुमाऊं रेजीमेंट का मुख्यालय बनाया और इस स्टेशन का उपयोग गर्मी से छुटकारा पाने के लिए किया जाने लगा। रानीखेत कुमाऊं रेजिमेंटल सेंटर और नागा रेजिमेंट का घर है। जिसकी देखरेख अब भारतीय सेना करती है।
ऐसे पहुंचे रानीखेत : फ्लाइट से रानीखेत कैसे जायें?
पहाड़ क्षेत्र होने के कारण रानीखेत में कोई एयरपोर्ट नही है। रानीखेत से निकटतम एयरपोर्ट पंतनगर में है, जो लगभग 115 किमी दूर है। पंतनगर एयरपोर्ट से कैब या टैक्सी करके सड़क के रास्ते रानीखेत आ सकते हैं, जिसमें करीब 3-4 घंटे लगते हैं।
ट्रेन से रानीखेत कैसे जायें?
रानीखेत से 88 किमी की दूरी पर काठगोदाम रेलवे स्टेशन है। दिल्ली, देहरादून और अन्य शहरों से काठगोदाम के लिए डायरेक्ट ट्रेन उपलब्ध है। रानीखेत एक्सप्रेस दिल्ली से रात दस बजे चलती है और सुबह 5 बजे तक काठगोदाम रेलवे स्टेशन पहुँच जाती है। आप काठगोदाम से टैक्सी, कैब या बस से रानीखेत पहुंच सकते हैं।
सड़क मार्ग से रानीखेत कैसे जायें?
सड़क मार्ग सीधे रानीखेत पहुँचने का एक मात्र रास्ता है। यह नैशनल हाइवे 87 के जरिए देश के हर राज्य से जुड़ा है। आप कार या टैक्सी से सड़क के रास्ते पहाड़ों की खूबसूरती और कुदरत के नैसर्गिक द्रश्यों का आनंद लेते हुए रानीखेत पहुँच सकते हैं।
रानीखेत में रुकने की जगह
जैसा कि हमने आपको बताया रानीखेत एक प्रचलित हिल स्टेशन है, जहां सालों भर पूरे विश्व से लोग आते रहते हैं। इस वजह से यहां पर्यटन के रुकने का काफी अच्छा व्यवस्था किया गया है।
आपको इस स्थान पर विभिन्न प्रकार के होटल और लॉज मिल जाएंगे यहां पर यात्रियों का आना काफी अधिक है। इस वजह से यहां के सभी रेस्टोरेंट आपको बेहतरीन खाने के साथ-साथ रुकने की जगह भी मुहैया करवाते हैं।